*नगरीय विकास एवं आवास विभाग के उप सचिव हर्षद पंचोली ने फर्जी भर्ती संविलियन को किया निरस्त*
जिला अनूपपुर मध्य प्रदेश

*नगरीय विकास एवं आवास विभाग के उप सचिव हर्षद पंचोली ने फर्जी भर्ती संविलियन को किया निरस्त*
अनूपपुर/ मध्यप्रदेश ने शहडोल एवं अनूपपुर जिले के नवगठित नगर परिषदों में डोला,डूमरकछार,बनगवा व शहडोल जिले की बकहो में हुए कर्मचारियों के फर्जी संविलियन को निरस्त कर दिया है
जिससे समूचे शहडोल संभाग के न्यायप्रेमियों में अत्यंत उत्साह एवं मध्यप्रदेश शासन के लिए सम्मान बढ़ गया है। गौरतलब है कि उक्त ग्राम पंचायतों को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने चुनावी सभाओं में नगर परिषद बनाने की घोषणा की थी।
किन्तु लोकल राजनेताओं और संबंधित पंचायतों में पदस्थ सरपंचों और सचिवों के द्वारा जालसाजी करके स्थानिय युवाओं की उपेक्षा करते हुए अनाधिकृत व्यक्तियों को पंचायत का कर्मचारी होने के प्रमाण पत्र जारी करते हुए सभी का संविलियन नगर परिषदों में कर्मचारियों के रूप मे किया गया था।
*जिला चयन समिति पर भी लगे भ्रष्टाचार के आरोप*
उक्त भर्ती का विरोध पत्रकारों, युवाओं, व कुछ समाजसेवी द्वारा करने पर इस फर्जी भर्ती का प्रकाशन किया गया जिसके बाद क्षेत्र में जनचर्चा के अनुसार जिला चयन समितियों पर भ्रष्टाचार के आरोप लगने लगे व पैसे रिश्वत और रसूख के दम पर इन भर्तियों को सही करार देकर भ्रष्टाचारियों के साथ कदमताल किया था।
जिसको बचाने नेताओ ने जहां मीडिया को धमकी देने में भी कमी नही किये वही कई क्षेत्रीय पत्रकार नेताओ व नगरपरिषदों के पदाधिकारियों के कोप भाजन का शिकार भी हुए।
अनूपपुर जिले के तीन ग्राम पंचायतों डोला डूमरकछार एवं बनगवों में पंचायतों के सचिव राजकिशोर शर्मा रजनीश शुक्ला एवं राजेश मिश्रा के साथ में मिलकर कोतमा विधानसभा क्षेत्र के नेताओं में से एक से एक प्रभावशाली भाजपा और कांग्रेस नेताओं ने बेरोजगार युवक युवतियों से लाखों रूपए लेकर उक्त पंचायतों से फर्जी कर्मचारी ने होने का प्रमाण पत्र जारी करवाकर अच्छी खासी नगदी कमाई और अपने भाई भतीजों और औलादों का भी कल्याण करा दिया।
वहीं अपने अपने राजनैतिक पदों का दबाव देकर इस मामले को साल दो साल दबाकर संरक्षण देते रहे।
जिसमें एक के बाद एक पत्रकारों ने सूचना का अधिकार लगाकर लिस्ट प्राप्त की और कर्मचारियों के नाम और राजनीतिक लोगो तक का नाम प्रकाशित कर हिम्मत दिखाई।
मध्यप्रदेश शासन के नगरीय विकास एवं आवास विभाग के उपसचिव हर्षल पंचोली ने विगत 15
जुलाई 2022 को विभागीय आदेश संख्या 3378 412202218.1 जारी करते हुए उल्लेख किया कि उक्त ग्राम पंचायतों में मानदेय कर्मचारियों को नवगठित निकायों में संविलियन किए जाने के संबंध में जिला चयन समिति की कार्यवाही दिनांक 06 फरवरी 2021 मध्यप्रदेश नगरपालिका अधिनियम 1961 की धारा 7 एवं मध्यप्रदेश नगरपालिका सेवा वेतनमान एवं भत्ताद्ध नियम 1997 के प्रावधानों के विपरीत होने सेए विभागीय समसंख्यक आदेश दिनांक 02 मार्च 2023 से प्रास्थगित की गई थी।
अभिलेखों के जॉच उपरान्त एवं पक्षों की सुनवाई के उपरान्त उक्त कार्यवाही नियमविरूद्ध पाई जाने से जिला चयन समिति की कार्यवाही दिनांक 06 फरवरी 2021 को मध्यप्रदेश नगरपालिका अधिनियम 1961 की धारा 331/2 में वर्णित शक्तियों के अंतर्गत निरस्त अपास्त किया जाता है।
संविलियन निरस्त कर्मचारी अभिषेक तिवारी रख रहे ऑफिस की चाबी दस्तावेज में कर सकते हैं छेड़खानी*
नगर परिषद डोला में कुछ ऐसे संविलियन कर्मचारी हैं जो नगर परिषद के ऑफिस की चाबी अपने पास रखे हुए हैं जबकि लेटर में साफ शब्दों में लिखा गया था
कि सेवा से पृथक किए गए कर्मचारी को आदेशित किया जाता है कि निकाय से प्राप्त समस्त अभिलेख व प्रभार सामाग्री संबंधित अधिकारी को जमा करा कर पावती प्राप्त करें। लेकिन इसके विपरित नगर परिषद डोला में कुछ और ही देखा जा रहा है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार जब 25/ 7/2022 की सुबह मुख्य नगरपालिका अधिकारी मुनीन्द्र मिश्रा नगर परिषद डोला पहुंचे तो उन्होंने ऑफिस में ताला लगा देखा जिसे लेकर आक्रोशित हुए व चाबी की मांग की गई तो वही जानकारी प्राप्त हुआ कि संविलियन कर्मचारी अभिषेक तिवारी के पास चाबी होना बताया गया
जिससे उनके द्वारा तत्काल उसे ऑफिस बुलाकर ताला खोलने के लिए बोला गया वह चाबी की मांग की गई।
आखिर अभी तक अभिषेक तिवारी से ऑफिस की चाबी क्यों नहीं ली गई है यह तो अधिकारी ही बता सकते हैं।
इनका कहना है
हमारे द्वारा संविलियन निरस्त होने का आदेश प्राप्त होते ही समस्त कर्मचारियों को नोटिस दे दी गई है व प्रभार सौंपने की मांग भी की गई है
कुछ कर्मचारी जिन्होंने अभी तक प्रभार नहीं सौंपा है उन्हें दुबारा नोटिस देने की तैयारी की जा रही है।
मुनींद्र प्रसाद मिश्रा
मुख्य नगरपालिका अधिकारी डोला