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*कुपोषण के प्रति लोगों को जागरूक करने में मीडिया की अहम भूमिका – कमिश्नर*

शहडोल जिला मध्यप्रदेश

कुपोषण के प्रति लोगों को जागरूक करने में मीडिया की अहम भूमिका – कमिश्नर

कुपोषण दूर करने में संतोषजनक स्थिति तक चलेगा शहडोल संभाग में संवेदना अभियान

शहडोल संभाग में कुपोषण दूर करना सबसे बड़ा एजेण्डा होना चाहिए – कमिश्नर

संवेदना अभियान पर मीडिया कार्यशाला का हुआ आयोजन

संभागीय ब्यूरो चीफ चन्द्रभान सिंह राठौर कि कलम से

शहडोल / 14 जुलाई 2021/
कमिश्नर शहडोल संभाग राजीव शर्मा ने कहा है कि, कुपोषण में कमी लाकर, मातृ एवं शिशु मृत्यु दर में कमी लाने के पवित्र कार्य में लोगों को जागरूक करने की अति आवश्यकता है। जिसमें प्रिंट एवं इलेक्ट्राॅनिक मीडिया के संवाददाता प्रमुख भूमिका निभा सकते है।

कमिश्नर ने कुपोषण, मातृ एवं शिशु मृत्यु दर में कमी लाने की चर्चा समाज में होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि, शहडोल संभाग में कुपोषण में कमी लाने और मातृ एवं शिशु मृत्यु दर में कमी लाने के लिए शासन एवं प्रशासन के प्रयासों के साथ-साथ जनप्रतिनिधियों, समाजसेवियों, स्वयंसेवी संगठनों, पत्रकारों एवं समाज के लोगों का सहयोग अति आवश्यक है तभी हम कुपोषण के कंलक की जंग को जीत पाएगें। कमिश्नर शहडोल संभाग राजीव शर्मा ने दिन बुधवार दिनांक 14 जुलाई 2021 को कमिश्नर कार्यालय के सभागार में कुपोषण की स्थिति को दूर करने के लिए और मातृ एवं शिशु मृत्यु दर में कमी लाने के लिए शहडोल संभाग में चलाए जा रहे संवेदना अभियान पर आयोजित मीडिया वर्कशाॅप को सम्बोधित कर रहे थें।
कमिश्नर ने कहा कि शहडोल संभाग में कुपोषण, मातृ एवं शिशु मृत्यु दर में कमी लाने के लिए कलेक्टर्स और जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को जिम्मेदारी सौंपी गई है, इसके अलावा सभी विभागों को जबावदेही के साथ कार्य करने के लिए निर्देशित किया गया है।

कमिश्नर ने कहा कि, शहडोल संभाग में महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा दी जा रही संदर्भ सेवाओं एवं पोषण वितरण कार्यक्रम को और अधिक बेहतर एवं कारगर बनाने के प्रयास किये जा रहे हैं, स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर से बेहतर बनाने के प्रयास किये जा रहे है, बच्चों और गर्भवती महिलाओं के शत-प्रतिशत टीकाकरण के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। कमिश्नर ने कहा कि, शिशु के सर्वांगीण विकास के लिए एक हजार दिवस अति महत्वपूर्ण होते हैं, इस समयावधि में शिश को पोषणयुक्त आहार की उपलब्धता सुनिश्चित हो इसके लिए प्रयास किये जा रहे हैं। कमिश्नर ने कहा कि, गरीबी, कुपोषण और संक्रमण के दुष्चक्र को समाप्त करने के प्रयास शहडोल संभाग मंे किये जा रहे है।

उन्होंने कहा कि, दागना प्रथा समान कुरीतियां शहडोल संभाग से समाप्त होना चाहिए, इसमें मीडिया अहम भूमिका निभाएं। उन्होंने कहा कि शहडोल संभाग में कुपोषित परिवारों को स्वरोजगार मुहैया कराया जा रहा है। उन्होंने कहा कि, कुपोषण, मातृ एवं शिश मृत्यु दर में कमी लाना एक बड़ा चुनौतीपूर्ण कार्य है, इसमें कमी लाने के लिए हम सभी को एकजुट होकर निरंतर प्रयास करने होगें।

कमिश्नर ने मीडिया कर्मियों से अपील करते हुए कहा कि, वे कुपोषण, मातृ एवं षिषु मृत्यु दर में कमी लाने के प्रयासों को जन-जन तक पहुंचाएं, लोगों से चर्चा करें उन्हें जागरूक करें कि कुपोषण किन कारणों से होता है तथा कुपोषण में कैसे कमी लाई जा सकती है इसकी चर्चा जनमानस के बीच करें, वहीं मातृ एवं शिश मृत्यु दर में कैसे कमी लाई जा सकती है इस पर भी चर्चा करें।
कमिश्नर ने कहा कि शहडोल संभाग में कुपोषण की स्थिति संतोषजनक जब तक नही हो जाती तब तक शहडोल संभाग में संवेदना अभियान जारी रहेगा।

मीडिया कार्यशाला में संयुक्त संचालक महिला एवं बाल विकास विभाग कण्डवाल द्वारा महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा संचालित प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, टेक होम राशन कार्यक्रम, रेडी-टू-ईंट कार्यक्रम, मुख्यमंत्री श्रमिक सेवा, प्रसूति सेवा योजना सहित महिला एवं बच्चों से जुडी हुई अन्य योजनाओं की भी जानकारी दी। कार्यशाला में शहडोल संभाग के प्रिंट एवं इलेक्ट्राॅनिक मीडिया के संवाददाता गण उपस्थित रहें।

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