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*आप देख सकते हैं/बंदूक की नोक पर चल रहा जिला में रेत का अवैध रूप से कारोबार/जिला अधिकारी नहीं दे रहे ध्यान/पत्रकार न्यूज़ पर न्यूज़ लगाकर हो रहे हैं परेशान*

तहसील कोतमा जिला अनूपपुर संभाग शहडोल मध्य प्रदेश

*बिग ब्रेकिंग न्यूज*

*उमरिया/शहडोल/अनूपपुर समाचार*

*बंदूक की नोक पर चल रहा जिले में रेत का अवैध कारोबार..?*

*खनिज विभाग अधिकारी ठेकेदार व बंदूकधारी गुर्गे के सामने नतमस्तक, जब जिम्मेदार अधिकारियों से उपरोक्त मामले में फोन से चर्चा करने का प्रयास किया फोन उठाना उचित नहीं समझा, सारंगगढ़ रेत खदान पहुंचते ही आम जनता को फोटो खींचने पर अधिकारी कहती फोटो खींची मुकदमा ठोक दूंगा, धन्य है ऐसे जिले के अधिकारी।*

*शहडोल संभाग से रिपोर्टर :- संभागीय ब्यूरो चीफ चंद्रभान सिंह राठौर कि रिपोर्ट*

कोतमा – एक ओर प्रदेश के मुखिया शिवराज सिंह चौहान खुले मंचो से रेत माफियाओं पर कार्यवाही कर शिकंजा कसने का ऐलान करते हुए कहते हैं कि प्रदेश के अवैध कारोबारियों को 10 फिट नीचे जमीन में गाड़ दिया जाएगा,मामा कार्यवाही के मूड में हैं।वहीं अनूपपुर जिले में रेत खदान संचालक ठेकेदार ने जिले में अपना पग रखा,ठेकेदार के रेत खदानों में कदम रखते ही रेत का अवैध कारोबार जिले की ज्यादातर रेत खदानों में चलता हुआ नजर आ रहा है।

ठेकेदार,रेत माफिया,जिला प्रशासन के कुछ भ्रष्ट अधिकारियो,सफेद खादी और कुछ खाकीधारियो की आड़ में संचालित एक दो खदानों मे टीपी के सहारे,तो वहीं ज्यादातर खदानों में 1000 से 1500 रुपए एंट्री के सहारे बिना टीपी के दिन रात हजारों रेत ट्रैक्टर वाहनों से चोरी कराई जाती है और राजस्व को चुना लगाया जाता है।वहीं जिले के कुछ आला भ्रष्ट अधिकारी अपनी अपनी जेब भरने और मोटी कमाई करने के चक्कर में ऐसे कारोबारियों से आज हाथ मिला बैठे है।कोतमा काटकोना घाट रेत खदान के सहारे बिना टीपी के कई महीनों से अवैध रूप से रेत की चोरी अपने गुर्गों व पार्टनरों से कराता रहा,वहीं चोलना घाट और गोडारू नदी से रेत ठेकेदार 1500 रुपए एंट्री के नाम पर अवैध रूप से खदान बिना टीपी के खुले आम चला रहा है।


*रेत ठेकेदार के गुर्गे बंदूक की नोक पर रेत का अवैध कारोबार-*

जिले की सभी रेत खदानों का जब से ठेका एक ही कंपनी के हाथो में गया तब से जिले में रेत माफियाओं का बोलबाला बढ़ चढ़कर बोल रहा हूं रेत खदान संचालक जिले के आला अधिकारियों से सेटिंग कर रजिस्टर्ड खदानों की आड में अवैध खदानों को संचालित कर रेत का अवैध कारोबार जिले के हर कोने पर फैला रखा है,रेत ठेकेदार व माफियाओं की जुगल जोड़ी मिलकर एक दो खदानों की टीपी के सहारे खुलेआम प्रशासन की आंख के सामने चोरी कर रहा है रेत ठेकेदार,माफिया, जिला प्रशासन के कुछ भ्रष्ट अधिकारी मिलकर अवैध खदानों पर अपने बंदूकधारी गुर्गों बैठा कर उनके सहारे रेत का अवैध व्यापार बड़े पैमाने पर किया जा रहा है।

ऐसा नहीं है कि रेत ठेकेदार के इस अवैध कारोबार की जिम्मेदार अधिकारियों को कोई खोज खबर नहीं है लेकिन अधिकारी भी ठेकेदार की ऊंची पहुंच पकड़ व लक्ष्मी भेंट के आगे चुप्पी साध कर कार्यवाही करने की बजाय कार्यालय की कुर्सी पर चुंबक की तरह चपक जाते हैं जिम्मेदार आला अधिकारी अवैध खदानों पर ठेकेदार की अनुमति के बगैर एक पग हिलते नहीं। जिले में संचालित अवैध रेत खदान में ठेकेदार के गोरखधंधे पर कुछ सत्ताधारी नेता,कुछ भ्रष्ट अधिकारी व रेत माफिया इस पूरे खेल में लिप्त हैं।

*ग्रामीण ने सीएम हेल्पलाइन में की शिकायत,खनिज विभाग व ठेकेदार की खुली पोल -*

खनिज विभाग के कुछ आला अधिकारियों व ठेकेदार की सह पर रेत का अवैध कारोबार चलाने को लेकर रवि द्विवेदी निवासी ग्राम निगवानी, सरांगगढ़ द्वारा सीएम हेल्पलाइन में शिकायत कि रेत ठेकेदार द्वारा अवैध रूप से रेत का उत्खनन किया जा रहा है,जहा रेत खदान की लीज है वहा से रेत उत्खनन न करा कर दूसरी जगह से रेत का उत्खनन कर परिवहन कर रेत की चोरी की जा रही है।गुलिडंड रेत खदान की टीपी के सहारे सरंगगढ़,खोडरी एवं पचकुरा रेत खदानों से अवैध रूप से खदान संचालित कर अपने बंदूकधारी गुर्गों को बैठाकर रेत की अवैध चोरी करवा रहा है।वहीं तीन माह पूर्व खनिज अधिकारी ने ठेकेदार को रेत खदान ग्राम सरांगगढ़ तहसील कोतमा आराजी खसरा नं 420,रक्वा 2.730 हेक्टेयर अवधि 19/06/2020 से 30/06/2023 तक संचालक के.जी.डेवलपर्स,भोपाल स्थित खदान का मुनारा व साइन बोर्ड चिन्हित किया गया और ठेकेदार ने उपरोक्त स्थान से जमकर रेत उत्खनन व परिवहन कराया गया।

*रेत खत्म होते ही खसरा नं 420 सरांगगढ़ खदान को बताया कहीं और -*

जब पूर्व में बिना टीपी के सहारे संचालित सरांगगढ़ से रेत खत्म होने के बाद आज रेत ठेकेदार को व्यक्तिगत लाभ पहुंचाने के चक्कर में खनिज अधिकारी पूर्व में संचालित रेत खदान सरांगगढ़ से लगभग दो कि मी की दूरी पर नदी के उस पार सही खदान बताया जा रहा है। जिससे रेत ठेकेदार ज्यादा से ज्यादा रेत का उत्खनन व परिवहन जगह बदल बदल कर कर सके। खनिज विभाग के दोहरे मापदंड और ठेकेदार को व्यक्तिगत लाभ पहुंचाने के लिए कुछ आला अधिकारियो ने अवैध खदानों को पहले वैध बताकर रेत उठाने की अनुमति दे दी।

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